25 शहरों में बारिश जारी; 14 जिलों में रेड और 19 जिलों में ऑरेंज अलर्ट

 राजधानी सहित प्रदेश के करीब 25 जिलों में गुरुवार को दिनभर बारिश का सिलसिला जारी है। बारिश से प्रभावित जिलों में नदी-नाले उफान पर हैं। रायसेन में बारना डैम के आठ गेट खुलने से भोपाल-जबलपुर मार्ग बंद हो गया।  मंडला में नर्मदा उफान पर है। जबलपुर से डिंडोरी व सिवनी मार्ग बंद हो गया। मौसम विभाग ने अगले 24 घंटों के लिए प्रदेश के 14 जिलों में रेड अलर्ट (भारी से अति भारी बारिश) और 19 जिलों में ऑरेंज अलर्ट (भारी बारिश) जारी किया है।


चेतावनी जारी किए गए जिलों में प्रदेश सरकार ने अतिरिक्त सर्तकता बरतने के निर्देश दिए हैं। इधर, मौसम विभाग का कहना है कि रेड अलर्ट वाले 14 जिलों में इस सीजन की सबसे ज्यादा अति भारी बारिश हो सकती है। 


रेड अलर्ट: धार, इंदौर, झाबुआ, खंडवा, खरगोन, अलीराजपुर, बैतूल, होशंगाबाद. हरदा, देवास, राजगढ़, सीहोर, विदिशा और सागर।
ऑरेंज अलर्ट:आगर, अनूपपूर, डिंडोरी, अशोकनगर, शिवपुरी, जबलपुर, नरसिंहपुर, मंडला, बालाघाट, सिवनी, छतरपुर, पन्ना, दमोह, गुना, रतलाम, शाजापुर, भोपाल, रायसेन और रीवा।


गुरुवार दिन में कहां कितनी बारिश: भोपाल 29.0, जबलपुर 22.4, सागर 65.0, रायसेन 49.0, धार 27.0, सिधी 10.0, गुना 45.0, शाजापुर 26.0, मंडला 48.0, होशंगाबाद 10,0 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई है। (सुबह 8-30 से शाम 5-30 तक) 


बारना बांध से चालीस हजार क्यूसेक पानी छोड़ा : रायसेन एक बार फिर टापू में तब्दील हो गया है। बारना डेम से 40 हजार क्यूसिक पानी छोड़ा गया है। बारना डेम के आठों गेट खोले गए हैं। बरेली क्षेत्र में फिर प्रसाशन एलर्ट पर है। बारना पुल पर अभी है 15 फिट पानी है। नेशनल हाईवे 12 पिछले 5 दिनों से बंद है। रायसेन का विदिशा से भी सड़क संपर्क टूटा है। पिछले 18 दिनों से बंद है विदिशा मार्ग। पगनेस्वर में बेतवा पुल पर करीब 20 फिट से ऊपर पानी है। बेतवा पुल पर अभी और बढ़ रहा है जलस्तर। सिलवानी में तेंदोनी नदी उफान पर है। सिलवानी से उदयपुरा मार्ग भी बंद है। वहीं, रायसेन का सागर से भी सड़क संपर्क टूटा है। बेगमगंज में रात भर बारिश हो रही हैं। कमला पुल के ऊपर 6 फुट पानी बह रहा है। बेगमगंज से सुल्तानगंज रोड बंद बेगमगंज से माला बेरखेड़ी रोड बंद बेगमगंज से 50 गांव का संपर्क टूट गया है।


खंडवा: लगातार तेज बारिश और ऊपरी क्षेत्र के बरगी तथा तवा बांधों से लगातार पानी छोड़े जाने से इंदिरा सागर बांध के गेट 16 अगस्त से खोले जा रहे हैं। सोमवार रात से 12 गेट खोलकर 23 हजार क्यूमेक्स प्रति सेकंड पानी लगातार छोड़ा जा रहा है।


ओंकारेश्वर में सभी घाट जलमग्न: ओंकारेश्वर में नर्मदा के सभी घाट 15 दिन से जलमग्न हैं। बाढ़ के चलते ओंकारेश्वर में तीर्थयात्रियों की संख्या भी न के बराबर है। ओंकारेश्वर बांध के 18 रेडियल गेट खोलकर 24 हजार क्यूमेक्स प्रति सेकंड पानी डिस्चार्ज किया जा रहा है।


डिंडोरी में 6, होशंगाबाद में 5 इंच बारिश: हाेशंगाबाद में बुधवार को पांच घंटे में 5 इंच और पचमढ़ी में 1 इंच बारिश हुई। उधर, सागर के देवरीकलां में बुधवार दोपहर करीब एक बजे बिजली गिरने से 28 पशुओं की मौत हो गई। गाय जंगल में चरने गई थीं। इसी दौरान बिजली गिर गई।


ग्रामीणों ने बचाई छात्रा की जान: लापरवाही के चलते सीहोर जिले के रामनगर की अजनाल नदी पर एक छात्रा और उसके परिजन की जान पर बन आई। पुल पर पानी होने के बाद भी चालक ने नदी पार करने की कोशिश, लेकिन जैसे ही कार तेज धार में पहुंची बहने लगी। ग्रामीणों ने दौड़कर कार को पकड़ा और उसमें रस्सी बांधी। पहले छात्रा को कार से बाहर निकाला उसके बाद कार को रस्सी के सहारे खींचकर बाहर लाया गया। 


दो महिलाओं की मौत: रहली के बमुराकुंज गांव में गणेशोत्सव के दौरान भजन कीर्तन कर रही एक मंडली पर अचानक दीवार गिर गई। मंडली की 2 महिलाओं की मलबे में दबने से मौत हो गई। जबकि 4 महिलाएं गंभीर रुप से घायल हाे गई। घायलों में एक अन्य व्यक्ति भी शामिल है। टीआई रामवतार चौरहा ने बताया कि दीवार गिरने से मुन्नी बाई (50) एवं मुलाबाई (75) की मौत हो गई।


इस साल मई-जून में लगातार भीषण गर्मी पड़ी और इस सीजन में बंगाल की खाड़ी में आमतौर पर बनने वाले सिस्टम से दोगुना सिस्टम लगातार बने। साथ ही लगातार कम दबाव के क्षेत्र बनने से मध्यप्रदेश में जुलाई के अंतिम सप्ताह से झमाझम बरसात का जो दौर शुरू हुआ वो आधे सितंबर तक जारी है।